हम–तुम-गृहलक्ष्मी की कहानियां
Hindi Kahani: आज का मौसम बहुत हसीन है, बहुत सुहावना, बहुत प्यारा. ऐसा की जिसे देखकर आपको किसी की याद आ जाएं, पर हम यहां सिर्फ उस मौसम की बात नहीं कर रहे हैं, हम बात करने जा रहे हैं उससे मिलने वाली सीख की। आप लोग कुछ दिनों पहले पड़ने वाली गर्मी से बहुत परेशान हुए होंगे जिसमें थी चिलचिलाती धूप और जलता हुआ दिनकर, जिसकी तपिश ने सभी को अपनी उपस्थिति का एहसास दिलाया था, पर अब देखिए आप कह नहीं सकते कि कुछ दिन पहले ऐसा मौसम भी हो सकता है।
अब इस बदलते हुए मौसम को देखकर लगता है जीवन में भी यहीं बदलाव आता है पर हम उसे समझ नहीं पाते। हम अपनी बुद्घि के तर्क - वितर्क से उसे समझने लगते हैं पर उसकी तह तक नहीं पहुंच पाते हैं। ऐसा ही कुछ संबन्धों के मध्य भी होता है, कहने - समझने के भूल से कई बार आपस में कई तरह की गलतफहमियां पैदा हो जाती है जो हम समझ नहीं पाते और समय रहते सुलझा नहीं पाते जिससे वो धीरे-धीरे बढ़ती जाती है। हम य़ह सोचते हैं कि हमारा साथी वो हमे समझे इस प्रकार जिस प्रकार हिन्दी फ़िल्मों के नायक - नायिका एक - दूसरे को देख कर समझते हैं पर लोगों को समझना चाहिए कि वो रील लाइफ है और य़ह रियल लाइफ। ऐसी समझदारी आज के संबन्धों में कम ही देखने को मिलती है पर एक बात जो सभी जानते हैं कि समबन्ध में सबसे जरूरी है प्यार, स्नेह, विश्वास, लगाव चाहे वो समबन्ध कोई भी हो।
उतार - चढ़ाव सभी रिश्तों में होते हैं पर इसका अर्थ य़ह नहीं की आपने गुस्सा किया है तो प्यार नहीं है। इसी को देखते हुए मुझे आजकल का एक नया ट्रेंड ध्यान में आया है - मूव ऑन और ब्रेकअप पार्टी। आज के समय में रिश्ते में ज़रा कुछ हुआ नहीं की लोग उसे खत्म करने पर जोर लगाने लगते हैं और आगे बढ़ने की चाह में निकल पड़ते हैं, आगे बढ़े पर आगे जाने का मतलब य़ह नहीं की वो रिश्ता, समबन्ध आपके लिए कुछ भी नहीं था आगे बढ़ना गलत नहीं है पर उस की कदर भी होनी चाहिए, जब आप किसी को सच में अपना मानते हैं, अपना समझते हैं तो य़ह सब चीजे बेमानी हो जाती है तब इन चीजों का कोई मतलब नहीं रहता क्यूंकि आप तो उसे दिल से चाहते हैं और अपना मानते हैं तो आप उसका हर तरह से ख्याल रखते हैं। ब्रेक अप और मूव ऑन उन्हीं के लिए होता है जो उस रिश्ते को दिल से कभी मानते ही नहीं, अगर वो आपके साथ नहीं है तो आप उसके बनके रहिए, उन्हें आप अपना पूर्ण समर्पण तो दे ही सकते हैं, भले ही वो आपके साथ हो या ना हो।
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