पलटकर जवाब देता है बच्चा, तो ऐसे लाएं सुधार: Kids Talking Back
Kids Talking Back: मेरा बच्चा मेरी हर बात काटता है, मेरा बेटा पलटकर जवाब देता है, हर बात पर ना कहता रहता है, किसी के सामने बच्चे को कुछ बोलने में डर लगता है कि कहीं पलट कर उल्टा-सीधा न कह दें... कई माएं बच्चों को इस व्यवहार का सामना करती है और दुखी होती रहती है। बच्चों का पलटकर जवाब देना वाकई दिल दुखाने वाला हो सकता है। आप इसे हैंडल करते हैं यह इसमें एक बड़ी भूमिका निभा सकता है कि आपका बच्चा अपनी लिमिट को समझें, सम्मान करना सीखें और परिणामों को समझें।
आप कुछ तरीकों से बच्चों के पलटकर रूखे जवाब देने की इस आदत को सुधार सकते हैं। ये आपे बच्चे के व्यक्तित्व, उसकी उम्र और परिस्थिति पर निर्भर करता है।
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कारण समझें
बच्चे क्यों पलटकर जवाब देता है, इसका कारण समझें। इसके कई कारण हो सकते हैं। अक्सर, बच्चों के पास कम्यूनिकेशन स्किल्स नहीं होता है कि वे क्या महसूस कर रहे हैं और इससे वे निराशा में फूट सकते हैं। कई बार जब कोई बच्चा ऐसी हरकत करता है तो ऐसा इसलिए होता है क्योंकि उसकी शारीरिक या भावानात्मक ज़रूरतें पूरी नहीं होती हैं। उल्टी-सीधी बातें, नखरे और मनमुटाव इन कुछ बातों के कारण हो सकते हैं।
- वे थके हुए होते हैं तो ऐसे में उनकी इमोशनल मैच्योरिटी प्रभावित होती है। अच्छे से कम्यूनिट करना थके हुए बच्चे के लिए संभव नहीं होता है।
- भूख या प्यास के कारण भी बच्चा चिड़चिड़ा हो सकता है और रूखे जवाब देने लगता है। बच्चे क्या ये तो बड़ो के साथ भी हो सकता है भूख के कारण।
- जैसे-जैसे बच्चे इंडिपेंडेंट होने लगते हैं, उन्हें अपने परिवेश पर कुछ नियंत्रण महसूस करने की ज़रूरत होती है। इसका मतलब यह नहीं है कि आप उन्हें सभी फैसले लेने दें बल्कि उन्हें विकल्प दें जैसे क्या ये कपड़े पहना पसंद करेंगे या कोई दूसरे। उन्हें यह महसूर करने में मदद मिल सकती है कि उनके पास भी नियंत्रण के लिए कुछ है।
- कई बार हम भूल जाते हैं कि हमारे बच्चे को अटेंशन चाहिए। उनके साथ खेलने के लिए समय न निकालें या साथ में कोई ऐसा काम करें जिससे वह ज़रूरत पूरी हो सके।
बात करें
अगर आपको समझ नहीं आ रहा है कि समस्या क्या है तो उनसे खुलकर बात करें। उम्र के हिसाब से उनके साथ चर्चा करें। कुछ इस तरह की बात करें – मुझे लग रहा है कि तुम अपसेट हो। मुझे बताओ क्या हुआ। आप पूछ सकती हैं – सब ठीक है ना? नॉर्मली आप ऐसे नहीं करते हो। आप उनसे पूछ सकती है- इधर आओ। मुझे लगता है कि आपको एक हग की ज़रूरत है।
सीमाएं तय करें
आपको सीमाएं तय करने की ज़रूरत है और यह बताने की कि उनके कोई से शब्द सही नहीं है या क्या तरीका आपको हर्ट कर रहा है। साफ शब्दों में कई बार कहना पड़ता है कि आपका बिहेवियर एक्सेप्टेबल नहीं है। उनसे साफ कहें कि जब आप अच्छे से बात करोगे तो हम आगे बात करेंगे।
सही उदाहरण पेश करें
बच्चे नकल करने में माहिर हैं या ये कहें कि जो देखते हैं वो सीखते हैं। इसलिए आप भी जब उनसे बात करें तो अपना लहजा ज़रूर देखें। जब उनसे बात करें तो आपमें भी सेल्फ कंट्रोल होना चाहिए। अगर आप सेल्फ कंट्रोल में नहीं रहेंगे तो आप उनसे उम्मीद करना छोड़ दें।
अच्छे व्यवहार की तारीफ करें
इतने प्यार से बोलने के लिए थैंक्स बेटा, अरे वाह! आपने बहुत अच्छे से बात की...कुछ इस तरह अच्छी बातों की सराहना करें तो उन्हें लगेगा कि ये बात नोटिस होती है कि वे कैसे बात कर रहे हैं।
ऐसे दें सजा
बच्चे अभी सीखने के दौर में ही हैं। वे भूल जाते हैं, उन्हें अपने इमोशन कंट्रोल करने में स्ट्रगल करना पड़ता है और वे अपनी सीमाओं से बाहर आने लगते हैं। ऐसे में उन्हें सही तरीके से सजा देना ज़रूरी है। उन्हें वॉर्निंग दें कि इस तरह अगर वे बात करते हैं तो पहले अपने रूम में जाकर खुद को शांत करें और फिर उनसे बात करें।
उनके लिए सजा भी उम्र के हिसाब से हो। अगर आप इस लहजे में बात करोगे तो मैं फैमिली ट्रिप कैंसल करने वाली हूं। क्या आपको ये चलेगा? ऐसा कहने की बजाए कहें – अगर आपने इसी तरीके से मुझे बात की तो आप आज अपना वीडियो गेम नहीं खेल पाएंगे या इस वीकेंड फ्रेंड्स के साथ मूवी नहीं जा पाएंगे।